गले का पक्षाघात (लकवा) का होम्योपैथिक इलाज [ Homeopathic Medicine For Paralysis in Throat ]

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इसका वास्तविक अर्थ है-गले का अपना पूर्ण रूप से कार्य न करना या कार्य न कर सकना। इस रोग में गला अपनी कार्यक्षमता खो बैठता है और जिस रूप में उसे कार्य करना होता है, उसे वह नहीं कर पाता है।

लैक कैनाइम 30, 200 — यदि मुख के रास्ते कुछ भी खाया-पिया गले के रास्ते पेट में जाने के बजाय नाक से बाहर निकलने लगे यानी डिफ्थीरिया हो जाने पर गले का पक्षाघात हो जाए, तब इस औषधि से विशेष लाभ होता है। केवल एक अकेली यह औषधि गले के पक्षाघात में विशेष प्रभाव डालती है।

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